कोशिका पढ़े :-https://www.iedunews24.com/2025/08/biology-cell-details-notes-in-hindi-for.html
कोशिका विभाजन क्या है:- वृद्धि व जनन सभी सजीवों की विशेस्ता है , सभी कोशिकाएं दो भागो में विभाजित होकर जनन करती है, जिसमे प्रत्येक पैतृक कोशिका विभाजित होकर दो या अधिक संतति कोशिकाओं का निर्माण करती है, ये कोशिकाएं आगे फिर वृद्धि व विभाजन करती है |
➣कोशिका विभाजन के लये रुडोल्फ वीरचो ने सिद्धांत दिया |
सिद्धांत:- 'Omnis cellula e cellula' इसके अनुसार नई कोशिकाओं का निर्माण पूर्ववर्ती
कोशिका से होता है |
➣स्ट्रास्बर्गेर ने बताया की नए केन्द्रक का निर्माण पुराने केन्द्रक में विभाजन से होता है |
- कोशिका चक्र क्या है ?
➣कोशिका विभाजन सभी जीवो के लिए बहुत महत्वपूर्ण क्रिया है | इस क्रिया के दौरान कोशिका वृद्धि(Cell Growth), DNA प्रतिकृति (DNA Replication) होती है |
➣ये सभी क्रियाये (जैसे :-कोशिका वृद्धि(Cell Growth), DNA प्रतिकृति (DNA Replication)' कोशिका विभाजन) इस प्रकार समायोजित होती है ताकि कोशिका विभाजन आसानी से हो सके , इसे कोशिका
चक्र कहते है |
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(Digramatic view of cell cycle) |
कोशिका चक्र की अवस्थाऐ (Stage of Cell Cycle)
➣सामान्यता मनुष्य (यूकेरियोटिक) की कोशिका 24 घण्टे में विभाजित होती है |
➣यह समयाअवधि प्रत्येक जीव में अलग - अलग होती है |
➣जैसे :- यीस्ट के कोशिका चक्र को पूर्ण होने में 90 मिनट का समय लगता है |
कोशिका की दो मुख्य अवस्थाये होती है -
1. अंतरावस्था (Interphase )
2. एम प्रावस्था (सूत्री विभाजन)
1. अंतरावस्था (Interphase )
➣यह दो क्रमिक M- अवस्थाओं के बीच की प्रावस्था को व्यक्त करता है |
➣इसे विश्राम अवस्था भी कहते है |
➣इसमें कोशिका उपापचय रूप से सक्रिय होती है |
➣इस अवस्था के दौरान कोशिका वृद्धि एवं डीएनए का प्रतिकृतिकरण होता है |
इसे तीन अवस्थाओं में विभाजित किया गया है -
(A) G1 प्रावस्था :-
➣इसमें कोशिका उपचाय रूप से सक्रिए होती है |
➣इस अवस्था में कोशिका वृद्धि में उपयोगी RNA व प्रोटीन का संस्लेशण होता है |
➣इस अवस्था में DNA का प्रतिकृतिकरण नहीं होता है |
(B) संस्लेशण अवस्था (S-phase)
➣इस अवस्था में DNA की प्रतिकृति होती है, अर्थात कोशिका में DNA की मात्रा बढ़कर दोगुनी हो जाती है |
(यदि DNA की प्रारंभिक मात्रा 2C है तो यह बढ़कर 4C हो जाती है )
➣इस अवस्था के दौरान ही कोशिकाद्रव्य में तारककेंद्र का प्रतिकृतिकरण होता है |
Note:- इस अवस्था के दौरान कोशिका में गुणसूत्रों की संख्या में कोई परिवर्तन नहीं होता है, अर्थारत पहले कोशिका द्विगुणित (2n) थी , तो S-अवस्था के बाद भी कोशिका द्विगुणित (2n) होगी |
(C) G2- Phase / पूर्व सूत्री विभाजन अन्तरकाल प्रावस्था
➣इसमें कोशिका उपापचय रूप से सक्रिय होती है |
➣इसमें विभाजन के लिए आवश्यक प्रोटीन का संस्लेशण होता है |
G0- Phase /शांत प्रावस्था
➣इसमें कोशिकाएं उपापचय रूप से सक्रिए होती है |
➣हमारे शरीर की कुछ कोशिकाएं विभाजन नहीं करती, वे G1- अवस्था से निकलकर शांत अवस्था में
चली जाती है |
जैसे :- हृदय कोशिकाए व तंत्रिका कोशिकाएं
2. एम प्रावस्था (सूत्री विभाजन)
(A) पूर्वावस्था(Prophase)
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(Digramatic view of prophas) |
(B) मध्यावस्था(Metaphase)
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(Digramatic view of metaphase) |
(C) पश्चावस्था(Anaphase)
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(Digramatic view of Anaphase) |
(D) अंत्यावस्था (Telophase)
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(Digramatic view of telophase) |
1 टिप्पणियाँ
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